एलोक्विंट प्राइवेट लिमिटेड कारखाना में घटी दुर्घटना में घायल के मां की क्या है मांग ?

घायल श्रमिक के मॉ ने आसनसोल ईएसआई अस्पताल के सुपरिटेंडेंट, जिला मजिस्ट्रेट, एवं राज्य के मुख्य कारखाना निरीक्षक से मामले में हस्तक्षेप कर मुवावजा एवं कारखाना प्रबंधन के खिलाफ उचित कार्यवाही एवं घटना की जांच की मांग की है।

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Jagganath Mondal
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Demands of the mother of the person injured in the accident at Eloquint Private Limited factory

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राहुल तिवारी, एएनएम न्यूज़ : सालानपुर थाना अन्तर्गत देन्दुआ स्थित शाकम्बरी ग्रुप की एलोक्विंट स्टील प्राइवेट लिमिटेड कारखाना में बीते 19 जून सुबह घटी दुर्घटना में घायल श्रमिक के मॉ ने आसनसोल ईएसआई अस्पताल के सुपरिटेंडेंट, जिला मजिस्ट्रेट, एवं राज्य के मुख्य कारखाना निरीक्षक से मामले में हस्तक्षेप कर मुवावजा एवं कारखाना प्रबंधन के खिलाफ उचित कार्यवाही एवं घटना की जांच की मांग की है।

सनद रहे बीते 19 जून को कार्य के दौरान उक्त कारखाने में कई श्रमिक गले हुये लोहे की चपेट में आकर घायल हो गये थे जिसमें गम्भीर रूप से घायल रामडीह निवासी राहुल भंडारी का इलाज अब भी दुर्गापुर के निजी अस्पताल में चल रहा है। इलाज के दौरान ईएसआई एवं कारखाना द्वारा दिये जाने वाले मुवावजे को लेकर घायल श्रमिक की माँ ने मुवावजे एवं घटना के बिषय में कारखाना प्रबंधन , मालिक के खिलाफ लापरवाही की जांच एवं कानूनी कार्यवाही की मांग की है। 

राहुल भंडारी के माँ रेणुका भंडारी द्वारा दी गई आवेदन में उन्होंने सवाल किया है कि बीते 19 जून, 2025 को एलोक्वेंट स्टील प्राइवेट लिमिटेड कारखाना में हुई उपर्युक्त दुर्घटना की सूचना कारखाना मालिक या निदेशक द्वारा दी गई है!, घटना के बाद उक्त कारखाने के मालिक एवं निदेशक के खिलाफ सलानपुर पुलिस थाना में एफआईआर दर्ज की गई है?

इसके साथ ही उन्होंने ने निम्नलिखित मांगे अपने आवेदन में दर्ज कराया है। उन्होंने मांग की है कि कारखाना मालिक या निदेशक ने उपर्युक्त दुर्घटना के बारे में रिपोर्ट नहीं की है तो कृपया आप घायल श्रमिकों की ओर से आवश्यक जाँच की पहल करे। इलाजरत राहुल भंडारी के परिजन को तुरंत उचित मुआवजा दिया जाए, उक्त कारखाना मालिक एवं जिम्मेदार अधिकारी को तुरंत आदेश जारी किया जाए कि राहुल भंडारी को कर्मचारी राज्य बीमा अधिनियम के अनुसार वेतन का भुगतान करें जब तक वह स्वास्थ्य नही होता।,  दुर्घटना में अगर कोई एफआईआर दर्ज नही हुई है तो उक्त कारखाना के मालिक एवं निदेशक के खिलाफ थाना में सीआईएफ, कारखाना निदेशक द्वारा उपरोक्त के संबंध में एफआईआर दर्ज करने के लिए पहल करें एवं दुर्घटना के संबंध में जांच की व्यवस्था करें।, साथ ही मालिक और जिम्मेदार अधिकारियों को आवश्यक दंड मिले।

कथित तौर श्रमिकों का आरोप है कि इसी तरह से इलाके के कारखाने श्रमिकों का शोषण कर रहे है और आवाज उठाने पर उन्हें कार्य से निकाल दिया जाता है। और कारखाना प्रबंधन की लापरवाही के कारण घटित हुई दुर्घटना में श्रमिक घायल एवं मौत के शिकार हो जाते जिसके बदले कुछ लाखो रुपयों के मुवावजे से श्रमिकों की मौत पर परदा डाल दिया जाता है। 

जीता जागता उदाहरण बीते कुछ दिनों पहले देन्दुआ मैथन स्टील एंड पावर लिमिटेड कारखाना में देखने को मिला जहाँ भट्टी की सेड के ऊपर की शेड गिरने से एक श्रमिक की मौत हो गई और कई घायल हो गये थे। बाद में करीब 12 लाख रुपयों की मुवावजा देकर मामला को शान्त कर दिया गया और जाँच के नाम पर लीपापोती कर दी गई। 

12 घण्टे कार्य करवा कर श्रमिको का किया जाता है शोषण। इलाके में स्थित प्राय कुछ एक कारखानो को छोड़ कर श्रमिकों से 8 घण्टे की जगह 12 घण्टे कार्य करा करा कर उनका शोषण किया जाता है। बिहार के गरीब श्रमिकों को जबरन कार्य कराया जाता है और पैसों के लालच में मजबूरन श्रमिक12 घण्टा कार्य करते है । जो 12 घण्टे के खिलाफ आवाज उठता है उसे कार्य से निकाल दिया जाता है। जो श्रमिकों के प्रति कारखानो की नीति को दर्शाता है। 

वही मामले में राज्य कारखाना निदेशालय के आसनसोल प्रभारी देब्रोतो चक्रबर्ती को कई बार फोन करने पर उन्होंने फोन नही उठाया।

मामले में एलोक्विंट स्टील प्राइवेट लिमिटेड कारखाना के एजीएम एचआर जितेंद्र झा ने कहा कि राहुल भंडारी का इलाज का पूरा ध्यान रखा जा रहा है और कारखाना प्रबंधन पूरा खर्च उठा रहा है। एवं परिवार को मुवावजा भी दिया जा रहा है। अगर कोई शिकायत की गई है परिजन के द्वारा तो वह परिवार से मामले में बात करेंगे।