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स्टाफ रिपोर्टर, एएनएम न्यूज़ : चार दिनों तक चलने वाले छठ पूजा के पहले दिन नहाय-खाय, दूसरे दिन खरना, तीसरे दिन संध्या अर्घ्य और चौथे दिन उषा अर्घ्य देते हुए समापन होता है। धार्मिक मान्यता है कि छठ का व्रत संतान प्राप्ति की कामना, संतान की कुशलता, सुख-समृद्धि और उसकी दीर्घायु के लिए किया जाता है।
छठ पूजा कैलेंडर 2023
| छठ पूजा का पहला दिन | नहाय-खाय | 17 नवंबर, दिन शुक्रवार |
| छठ पूजा का दूसरा दिन | खरना (लोहंडा) | 18 नवंबर, दिन शनिवार |
| छठ पूजा का तीसरा दिन | छठ पूजा, संध्या अर्घ्य | 19 नवंबर, दिन रविवार |
| छठ पूजा का चौथा दिन | उगते सूर्य को अर्घ्य, पारण | 20 नवंबर, दिन सोमवार |
नहाए-खाय से छठ महापर्व प्रारंभ
यह व्रत बहुत ही कठिन माना जाता है। इसमें 36 घंटों तक कठिन नियमों का पालन करते हुए इस व्रत को रख जाता है। छठ पूजा का व्रत रखने वाले लोग चौबीस घंटो से अधिक समय तक निर्जल उपवास रखते हैं। इस पर्व का मुख्य व्रत षष्ठी तिथि को रखा जाता है, लेकिन छठ पूजा की शुरुआत कार्तिक मास में शुक्ल पक्ष की चतुर्थी से हो जाती है, जिसका समापन सप्तमी तिथि को प्रातः सूर्योदय के समय अर्घ्य देने के बाद समाप्त होता है।
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